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Monday, August 30, 2021

ज़िन्दगी की तलाश में..साँझा ग़ज़ल संग्रह का हुआ लोकार्पण

 


संग्रह में 17 नामचीन ग़ज़लकार हैं शामिल।



पीडीडीयू नगर/चन्दौली । राष्ट्रीय चेतना प्रकाशन द्वारा प्रकाशित साझा गजल संग्रह   ज़िन्दगी की तलाश में..." का रविवार को आर्य समाज मंदिर में लोकार्पण हुआ। लोकार्पण समारोह के मुख्य अतिथि प्रसिद्ध साहित्यकार व उद्यमी दीनानाथ झुनझुनवाला  व विशिष्ट अतिथि वरिष्ठ साहित्यकार डॉ शैलेंद्र सिंह, वरिष्ठ राजभाषा अधिकारी पीडीडीयू नगर दिनेश चंद्र,अध्यक्षता कर रहे वरिष्ठ साहित्यकार डॉ० उमेश प्रसाद सिंह ने संयुक्त रूप से किया।



इस संग्रह में देश के ख्यातिलब्ध 17 ग़ज़लकारों की सात-सात प्रतिनिधि ग़ज़लें शामिल है


इस अवसर पर मुख्य अतिथि ने कहा कि गजल अपने आप में विलक्षण विधा है। पहले की गजलों में महबूब से बात करने या अभिव्यक्त करने का भाव दिखाई पड़ता था। लेकिन अब ग़ज़लों  में दुनियाबी बातें दिखाई पड़ती हैं जो इसे जन-जन में लोकप्रिय बनाती हैं। विशिष्ट अतिथि डॉ० शैलेंद्र सिंह ने कहा कि गजल अपने आप में कठिन विधा है। इस विधा में सिद्धस्त लोग अपनी बात बड़े ही रोचक ढंग से और कम शब्दों में कह जाते हैं। गजल सुनना और पढ़ना दोनों ही बहुत अच्छा लगता है। डीडीयू रेल मंडल के  वरिष्ठ राजभाषा अधिकारी दिनेश चंद्र ने कहा कि " जनपद चन्दौली की धरती पर साहित्य की खेती होती रही है। जनपद के साहित्यकारो ने  हिंदी साहित्य जगत में  अपनी विशिष्ट भूमिका का निर्वहन किया हैं।जो अभी भी लगातार जारी है।इसी परंपरा को राष्ट्रीय चेतना प्रकाशन आगे बढ़ाने का काम कर रहा है। गजल संग्रह के सभी ग़ज़लकारों को उन्होंने बधाई दी।" 

 

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए प्रख्यात उपन्यासकार एवम ललित निबंधकार जनपदवासी डॉ० उमेश प्रसाद सिंह ने कहा कि गजल संग्रह "जिंदगी की तलाश में..." स्थापित ग़ज़लकारो के साथ-साथ नवोदित ग़ज़लकारों को भी शामिल किया है,यह एक अच्छा प्रयोग है। इससे नवोदित ग़ज़लकारों को लिखने की चुनौती मिलेगी; वही स्थापित ग़ज़लकार भी गंभीर लेखन के तरफ अग्रसर होंगे।


समारोह का शुभारंभ वाराणसी से आईं गायिका सुमन अग्रहरि के गणेश वंदना से हुआ। इसमें बाद उन्होंने एक राष्ट्रभक्ति सोहर व ग़ज़ल भी गया। 


कार्यक्रम में गूगलमीट पर विशिष्ट अतिथि एआरटीओ प्रशासन डॉ० दिलीप गुप्ता , मनीष बादल, केशव शरण, शिवकुमार 'पराग'' 'रामकृष्ण सहस्रबुद्धे,एम अफसर खां आदि भी जुड़े थे।

 

इस मौके पर धर्मेंद्र गुप्त 'साहिल' रामजी प्रसाद भैरव, दीनानाथ देवेश,  एल उमाशंकर सिंह,  जुबैर दिलदारनगरी,  तारिक मसूद ,हरिवंश बवाल, सुरेश अकेला, सुभाष क्षेत्रपाल, इंद्रजीत शर्मा,  शमीम मिल्की,  विनोद गुप्ता,राजकुमार जायसवाल, रमेश पाल,ओमप्रकाश जायसवाल, सर्वजीत सिंह, अशोक कुमार, सपना पांडेय,रोहित यादव  ,रिया सिंह, अनिता राय,  नैना सिंह सहित बड़ी संख्या में लोग उपस्थित थे।


 अतिथियों का स्वागत साझा ग़ज़ल संग्रह के संपादक प्रमोद कुमार सिंह "समीर भृगुवंशी" व प्रकाशक विनय कुमार वर्मा ने संयुक्त रूप से किया। लोकार्पण समारोह का सफल संचालन  कार्यक्रम के संयोजक डॉ.अनिल यादव ने वखूबी किया तथा धन्यवाद ज्ञापन आर्य समाज के प्रधान एवं वरिष्ठ अरुण कुमार आर्य ने किया।

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