सत्य की हुई जीत,विजेंद्र को मिल गया न्याय, एडीजी जोन पियूष मोर्डिया ने मामले का त्वरित, निस्तारण कराने के लिए एसपी को लिखा था पत्र
-पत्रकार प्रेस क्लब के प्रदेश अध्यक्ष के नेतृत्व में सैकड़ो पत्रकारों ने एडीजी को सौप था ज्ञापन
जौनपुर। जिले के धरौरा गांव में भाजपा के एक कथित नेता अनिल दुबे के धन बल के प्रभाव में आकर पुलिस एवं प्रशासनिक अधिकारियों ने पीड़ित विजेंद्र दुबे के साथ जिस तरीके से जुल्मों सितम ढाया उसे सुनकर हर लोगों का दिल दहल जाएगा। पर यह सच है कि सत्य परेशान होता है पर पराजित नहीं।
आज इस उक्ति को एडीजी जोन वाराणसी पियूष मोर्डिया ने चरितार्थ कर एक गरीब विजेंद्र दुबे को सिर्फ न्याय की कड़ी से ही नहीं जोड़ा,बल्कि समाज में यह साबित कर दिया कि जोन के हर पीड़ित व्यक्ति को न्याय दिलाने के लिए पुलिस प्रशासन कटिबद्ध है। एडीजी जोन के इस ईमानदारी की चर्चा पूरे जिले में हवा की तरह तैर रही है। बताते चलें कि पिछले महीने पत्रकार प्रेस क्लब के प्रदेश अध्यक्ष घनश्याम पाठक के नेतृत्व में सैकड़ो पत्रकार एडीजी जोन वाराणसी से मुलाकात कर उन्हें इस आशय का ज्ञापन सोपा था कि आरोपी कथित भाजपा नेता अनिल दुबे विजेंद्र दुबे के घर में खुली खिड़की को अपना बताकर भारी पुलिस बल को लेकर जबरन बंद करवा रहे हैं।
इतना ही नहीं विजेंद्र दुबे सहित आधा दर्जन लोगों पर कथित भाजपा नेता के धन बल के प्रभाव में आकर केराकत पुलिस संगीन धाराओं में मुकदमा दर्ज कर उन्हें प्रताड़ित कर रही है। एडीजी जोन ने मामले को गंभीरता से लेते हुए एसपी को तत्काल प्रभाव से पत्र लिखकर पीड़ित को न्याय दिलाने की बात कही थी। जौनपुर एसपी डॉ अजय पाल शर्मा ने मामले को गंभीरता से लेते हुए फर्जी मुकदमे के बाबत थानाध्यक्ष केराकत को सही कार्य करने की सख्त हिदायत देने के साथ एसडीएम केराकत सुनील भारती को पत्र लिखकर जमीन की पैमाइश कराने का निर्देश दिया था।
रविवार को पूर्वाहन केराकत तहसीलदार महेंद्रबहादुर के नेतृत्व में दो नायब तहसीलदार और आधा दर्जन से ज्यादा कानूनगो,लेखपाल भारी पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंच कर जब पैमाइश करना शुरू किये तो वहां कुछ और ही मामला सामने आया। पीड़ित विजेंद्र दुबे के दीवाल में खुली खिड़की को अनिल दुबे अपना बता रहे थे वह पीड़ित विजेंद्र दुबे की जमीन में निकला।इतना ही नहीं खिड़की से लगभग सात फीट आगे भी जमीन विजेंद्र दुबे की ही निकली। तहसीलदार ने मौके पर ही अनिल दुबे के पारिवारीजनों को कड़ी फटकार लगाते हुए तत्काल अवैध कब्जा हटाने का निर्देश भी दे दिया। इतना ही नहीं तहसीलदार तथा राजस्वकर्मियों ने मौके पर ही अनिल दुबे के पारिवारीजनों को यह भी बताया कि तुम्हारा मकान भी बंजर की जमीन में बना हुआ हैं, उसे पर भी कड़ी कार्रवाई शीघ्र होगी। इस मामले में तहसीलदार ने संपूर्ण मामले की जानकारी एसडीएम केराकत सुनील भारती को भी दे दी है।
कोट्स
मेरे नेतृत्व में दो नायब तहसीलदार एवं आधा दर्जन राजस्वकर्मी पुलिस बल के साथ धरौरा गांव में मौके पर पहुंचकर विवादित भूमि की पैमाइश करवा कर निशान गड़वा दिया गया है। विपक्षी अनिल दुबे का मकान भी बंजारा की भूमि में पाया गया। जिनके विरुद्ध स्थानीय थाने में मुकदमा पंजीकृत करवाया जाएगा। विजेंद्र दुबे की खिड़की को गलत तरीके से रोका जा रहा था। संपूर्ण प्रकरण की जानकारी एसडीम केराकत को दे दी गई है।
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